एक उम्मीद(NGO) ने सौपा जिलाधिकारी को ज्ञापन,शाम होते ही अंधकार में डूब जाता है बंदी माता घाट

संवाददाता- विकास सिंह राठौड़

मंदिर का इतिहास त्रेतायुग से जुड़ा हुआ है, मान्यता है कि भगवान विष्णु की आज्ञा से देवी बंदी ने यहां निवास किया था.

कानपुर चौबेपुर क्षेत्र में स्थित शहर के प्रमुख मंदिरों में से एक प्रसिद्ध बंदी माता शक्तिपीठ घाट पर 6 माह से हाई मस्ट लाइट खराब पड़ी हुई है, जहां सैकड़ो दर्शनार्थी एवं क्षेत्रीय नागरिक प्रतिदिन मंदिर पर दर्शन के लिए पहुंचते हैं , मंदिर एवं घाट पर शाम के समय आने वाले श्रद्धालुओं एवं क्षेत्रीय लोगों को प्रकाश की कमी की वजह से परेशानियों का सामना करना पड़ता है जिसकी शिकायत संबंधित विभाग एवं टोल फ्री नंबरों पर क्षेत्रीय नागरिकों एवं एक उम्मीद जन कल्याण सेवा समिति के पदाधिकारी द्वारा कई बार की गई लेकिन लंबे अरसे से न मरम्मत हुई न लाइट चालू की गई!


कानपुर का बंदी माता मंदिर, जिसे “बंदी देवी” या “पाताल की देवी” के रूप में भी जाना जाता है, एक प्राचीन मंदिर है जो त्रेतायुग से जुड़ा हुआ है. कहा जाता है कि यह मंदिर भगवान विष्णु की आज्ञा से देवी बंदी द्वारा स्थापित किया गया था. एक कथा के अनुसार, यह मंदिर तब प्रसिद्ध हुआ जब देवी बंदी ने भगवान राम और लक्ष्मण को अहिरावण की कैद से मुक्त कराने में मदद की. इसके अतिरिक्त, कुछ लोगों का मानना ​​है कि मंदिर में देवी सीता द्वारा मूर्ति बनाई गई थी.
ऐतिहासिक मंदिर पर प्रकाश की निरंतर समस्या को लेकर एक उम्मीद जन कल्याण सेवा समिति की राष्ट्रीय सचिव दीक्षा यादव के निर्देशानुसार कानपुर ग्रामीण जिला अध्यक्ष पवन सिंह चौहान के नेतृत्व में कानपुर नगर के जिलाधिकारी को हाई मस्ट लाइट की मरम्मत करवाने हेतु ज्ञापन सौपा गया एवं हाई मस्ट लाइट जल्द से जल्द चालू कराने की मांग की गई!
ज्ञापन देते समय प्रमुख रूप से पवन चौहान “जिलाध्यक्ष” का. ग्रा., उमेश भार्गव “प्रभारी” का०न०,आर्यन शर्मा “जिला मीडिया” प्रभारी का० ग्रा०, युनुस खान “जिला सचिव” का० ग्रा०,सौरभ सिंह राठौड़ “अध्यक्ष” बिल्हौर वि०स०, पूर्णिमा शर्मा, अभिषेक चौरसिया एवं अन्य सदस्य मौजूद रहे!!

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